महिलाओं और खासतौर से छोटी बच्चियों से जुड़े क्राइम पर विशेष ध्यान—डीजीपी सिंह
ग्वालियर । प्रदेश में पुलिस का विशेष ध्यान महिलाओं और खासतौर से छोटी बच्चियों से जुड़े क्राइम पर है। इसके लिए पुलिस स्कूल-कॉलेजों में विशेष जागरूकता अभियान चला रही है। इसके अलावा साइबर क्राइम की चुनौतियों के लिए एमपी पुलिस तैयार है और अपराधियों को पकड़ने में उनसे एक कदम आगे है।यह बात मध्य प्रदेश के पुलिस महानिदेशक विजय कुमार सिंह ने ग्वालियर में पत्रकारों से चर्चा के दौरान कही। उन्होंने कहा कि आज के जमाने में महिलाएं घर से बाहर निकलकर नौकरियां कर रही हैं, स्कूल-कॉलेज में उनकी संख्या ज्यादा है। ऐसे में उनसे जुड़े खासतौर से अपहरण और जबरन शादी करने जैसे (धारा ३६३ व ३६६) से जु॰ड़े क्राइम ज्यादा हो रहे हैं। इसके अलावा छोटी लड़कियां, जो शहर के बाहर बनी बस्तियों, झुग्गियों में रहती है, उनके साथ दुष्कर्म के मामले ज्यादा सामने आ रहे हैं। ऐसे मामलों में देखा गया है कि अपराधी उनका ही नजदीकी रहता है।
डीजीपी सिंह ने कहा कि ऐसे क्राइम को रोकने के लिए एमपी के शहरों में जागरुकता का अभियान लगातार चला रही है। महिला पुलिस अफसरों को इस काम में लगाया गया है और एनजीओ व दूसरे संगठनों की सहायता से स्कूल-कॉलेजों और झुग्गियों में लोगों को समझाया जा रहा है। डीजीपी सिंह का कहना था कि एमपी पुलिस इनवेशटीगेशन बेहतर करने से लेकर अपराधियों को सजा दिलने के लिए न्यायालय सहित दूसरे विभागों, जैसे जेल के साथ मिलकर बेहतर संबंध बनाने की कोशिश में है।उन्होने बताया कि क्राइम का पैटर्न बदल रहा है। आर्थिक और साइबर क्राइम ज्यादा हो रहे हैं, लेकिन एमपी पुलिस इससे निपटने के तैयार है। मॉब लिंचिग पर मध्य प्रदेश सरकार के कानून लाने पर डीजीपी सिंह का कहना था कि कानून हमेशा अच्छे के लिए आता है और एमपी पुलिस यह प्रयास करेगी कि ऐसी घटनाएं नहीं हो और सभी लोग सुरक्षित रहें।एमपी के शहरों में ट्रैफिक सही करने के बारे में उनका कहना था कि बड़े शहरो में जल्दी ही इंटेलीजेंट ट्रांसपोर्ट मैनेजमैंट सिस्टम लागू किया जाएगा। इसके अलावा सड़कों पर दुर्घटनाएं नहीं हो, इसके लिए सड़क बनाने वाले विभागों और नगरीय निकायों के साथ मिलकर एमपी पुलिस काम करेगी।